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2 min read | अपडेटेड April 17, 2025, 08:31 IST
सारांश
रेपो रेट में पिछले कुछ समय में दो बार कटौती की गई है और State Bank of India की रिपोर्ट की मानें तो जल्द ही एक बार और रेपो रेट में कटौती देखने को मिल सकती है। जिससे लोन ले चुके या लेने वाले लोगों का बोझ और कम हो सकता है।
आरबीआई फिर से रेपो रेट में कर सकता है कटौती
State Bank of India यानी कि भारतीय स्टेट बैंक (SBI) रिसर्च की एक रिपोर्ट में कहा है कि महंगाई दर के पिछले कई सालों के निचले स्तर पर पहुंचने और उम्मीदें कम रहने के चलते भारतीय रिजर्व बैंक यानी कि Reserve Bank of India (RBI) द्वारा जून और अगस्त में ब्याज दरों में 50 बेसिस पॉइंट्स (bps) की कटौती देखने को मिल सकती है। रिपोर्ट में यह भी सुझाव दिया गया है कि बढ़ती अनिश्चितता वाले आर्थिक माहौल को लेकर बढ़ती चिंताओं के बीच कुल ब्याज दरों में कटौती 100 bps से अधिक हो सकती है।
**क्या कुछ कहा गया SBI रिपोर्ट में? **
एएनआई के मुताबिक रिपोर्ट में अनुमान लगाया गया है कि फाइनेंशियल ईयर 2025-26 के लिए जीडीपी वृद्धि दर 6.3% रहेगी, जिसमें गिरावट का रुझान रहेगा। इस रिपोर्ट के मुताबिक, ‘इस महीने महंगाई के कई सालों के निचले स्तर पर रहने और भविष्य में महंगाई के कम रहने की उम्मीदों के साथ, हम जून और अगस्त में दरों में 50 bps की कटौती की उम्मीद करते हैं। हमारा मानना है कि अनिश्चित विकास परिवेश के साथ संचयी दर (cumulative rate) में कटौती अब 100 bps से अधिक हो सकती है। हम फाइनेंशियल ईयर 2026 में जीडीपी वृद्धि दर में गिरावट के साथ 6.3% रहने का अनुमान लगाते हैं।’
आरबीआई की मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) यानी कि Monetary Policy Committee ने 9 अप्रैल को रेपो दर में 25 bps की कटौती की घोषणा की थी, जिससे यह 6.25% से घटकर 6% हो गई। हाल के महीनों में यह लगातार दूसरी बार दरों में कटौती है। 7 फरवरी को केंद्रीय बैंक ने रेपो दर को 6.5% से घटाकर 6.25% कर दिया था। नीतिगत ब्याज दरों में कटौती से इकॉनमिक ग्रोथ को समर्थन मिलता है और वहनीयता (affordability) और लोन एलिजिबिलिटी दोनों में वृद्धि होती है। अगर आरबीआई रेपो रेट में फिर से कटौती करता है, तो ऐसे में होम लोन, कार लोन या अन्य किसी तरह के लोन लेने वाले लोगों को इसका फायदा मिलेगा। इसके अलावा भविष्य में जो लोन लेने का प्लान कर रहे हैं, उन्हें भी कम इंटरेस्ट रेट पर लो मिल सकेगा।
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