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Banking Stocks: RBI के रेट कट से बैंकिंग शेयरों पर बना दबाव, SBI, Axis Bank समेत कई स्टॉक्स लुढ़के

Upstox

3 min read | अपडेटेड April 09, 2025, 12:34 IST

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सारांश

Banking Stocks: सबसे ज्यादा गिरावट स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBIN) के शेयरों में है। यह करीब दो फीसदी टूटकर 752.15 रुपये के भाव पर आ गया है। Bank of Baroda (BoB) के शेयरों में भी दो फीसदी से अधिक की गिरावट है। बैंक निफ्टी इंडेक्स करीब एक फीसदी टूटकर 50,097 के आसपास ट्रेड कर रहा है।

शेयर सूची

Banking Stocks: IDFC First Bank को छोड़कर इंडेक्स में शामिल अन्य सभी शेयर लाल निशान पर ट्रेड कर रहे हैं।

Banking Stocks: IDFC First Bank को छोड़कर इंडेक्स में शामिल अन्य सभी शेयर लाल निशान पर ट्रेड कर रहे हैं।

Banking Stocks: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने रेपो रेट में 25 बेसिस प्वॉइंट्स की कटौती की है। इसके साथ ही यह 6.25 फीसदी से घटकर 6 फीसदी पर आ गया है। RBI के इस फैसले के बाद बैंकिंग शेयरों में गिरावट देखने को मिल रही है। बैंक निफ्टी इंडेक्स इस समय करीब एक फीसदी टूटकर 50,097 के आसपास ट्रेड कर रहा है। वहीं, IDFC First Bank को छोड़कर इंडेक्स में शामिल अन्य सभी शेयर लाल निशान पर ट्रेड कर रहे हैं।

इन शेयरों में सबसे ज्यादा बिकवाली

सबसे ज्यादा गिरावट स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (SBIN) के शेयरों में है। यह करीब दो फीसदी टूटकर 752.15 रुपये के भाव पर आ गया है। Bank of Baroda (BoB) के शेयरों में भी दो फीसदी से अधिक की गिरावट है। इसके अलावा, Axis Bank के शेयरों में 1.58 फीसदी, ICICI Bank में 0.88 फीसदी, HDFC Bank में 0.64 फीसदी और पंजाब नेशनल बैंक (PNB) में 0.92 फीसदी की कमजोरी है।

ब्याज दरों में कटौती से बैंकों पर क्या होता है असर?

बैंकिंग शेयरों में गिरावट बैंकों के लिए ब्याज मार्जिन कम होने को लेकर निवेशकों की चिंता को दिखाती है। ब्याज दरों में कटौती आम तौर पर क्रेडिट ग्रोथ के लिए पॉजिटिव होती है। इससे लोन सस्ते हो जाते हैं और क्रेडिट ग्रोथ यानी उधारी बढ़ती है। लेकिन इससे अस्थायी रूप से बैंक की प्रॉफिटेबिलिटी पर असर पड़ता है। खासकर उन बैंकों पर जिनका पैसा फिक्स्ड-रेट पर दिए गए लोन या कम मुनाफे वाले निवेश में लगा होता है।

रेट कट का अलग-अलग सेक्टर पर असर?

जब ब्याज दरें घटती हैं, तो ऑटो, बैंकिंग और NBFCs जैसे सेक्टर्स को फायदा होता है, क्योंकि इससे लोन लेना आसान और सस्ता हो जाता है। इससे लोग गाड़ियां और घर जैसी महंगी चीज़ें खरीदने के लिए ज्यादा खर्च करते हैं। इससे बैंकों और NBFCs को भी ज़्यादा लोन देने का मौका मिलता है और उनका बिज़नेस बढ़ता है।

RBI ने क्यों घटाई ब्याज दर?

RBI द्वारा ब्याज दर में लगातार दूसरी बार कटौती की है। इसका मकसद भारत की अर्थव्यवस्था को वैश्विक जोखिमों से बचाना है। दुनियाभर में मंदी की आशंका और अमेरिका जैसे देशों के व्यापार पर लगाए गए टैरिफ से पैदा हुई चिंताओं के चलते RBI ने यह कदम उठाया है। यह कदम देश की मांग को बनाए रखने और अर्थव्यवस्था की रफ्तार को थामे रखने के लिए एक सक्रिय कोशिश माना जा रहा है।

(डिस्क्लेमर: यहां मुहैया जानकारी सिर्फ सूचना के लिए दी जा रही है। यहां बताना जरूरी है कि मार्केट में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन है। निवेशक के तौर पर पैसा लगाने से पहले हमेशा एक्सपर्ट से सलाह लें। किसी को भी पैसा लगाने की यहां कभी भी सलाह नहीं दी जाती है।)

लेखकों के बारे में

Upstox
Upstox Hindi News Desk पत्रकारों की एक टीम है जो शेयर बाजारों, अर्थव्यवस्था, वस्तुओं, नवीनतम व्यावसायिक रुझानों और व्यक्तिगत वित्त को उत्साहपूर्वक कवर करती है।

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