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3 min read | अपडेटेड April 16, 2025, 14:21 IST
सारांश
Trade War: चीन और अमेरिका के बीच ट्रेड वार बढ़ता जा रहा है। पिछले शुक्रवार को चीन ने अमेरिका से आने वाले सामानों पर टैरिफ 125% तक बढ़ा दिए। ये कदम तब उठाया गया जब ट्रंप ने चीन से आयात पर टैक्स 145% तक बढ़ा दिया था, साथ ही बाकी देशों से आने वाले सामान पर 90 दिनों तक नए टैक्स रोक दिए थे।
Trade war: व्हाइट हाउस ने मंगलवार देर रात यह निर्णय चीन के हालिया निर्यात प्रतिबंधों और टैरिफ के जवाब में लिया है।
Trade War: अमेरिका और चीन के बीच ट्रेड वॉर थमने का नाम नहीं ले रहा है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने चीनी आयात पर 245 फीसदी तक के नए टैरिफ (Tariff Hike) का ऐलान किया है। व्हाइट हाउस ने मंगलवार देर रात यह निर्णय चीन के हालिया निर्यात प्रतिबंधों और टैरिफ के जवाब में लिया है। व्हाइट हाउस ने कहा, "चीन को अब अपने जवाबी एक्शन के चलते अमेरिका में आयात पर 245% तक टैरिफ का सामना करना होगा।" यह कदम ट्रंप की "अमेरिका फर्स्ट ट्रेड पॉलिसी" का हिस्सा है।
अमेरिका ने चीन पर आरोप लगाया है कि वह जानबूझकर कुछ ज़रूरी हाई-टेक मटेरियल्स (जैसे गैलियम, जर्मेनियम और एंटिमनी) की सप्लाई को सीमित कर रहा है। ये मटेरियल्स सैन्य, अंतरिक्ष और सेमीकंडक्टर इंडस्ट्रीज के लिए बहुत जरूरी होते हैं।
हाल ही में, चीन ने 6 तरह की भारी "रेयर अर्थ मेटल्स" और "रेयर अर्थ मैग्नेट्स" के निर्यात पर रोक लगा दी है। इससे ग्लोबल सप्लाई चेन पर असर पड़ सकता है।
कुछ महीने पहले चीन ने अमेरिका को इन अहम मटेरियल्स का एक्सपोर्ट बंद कर दिया था, जिनका इस्तेमाल सैन्य तकनीक में होता है। अब चीन की यह नई रोक ऑटो कंपनियों, एयरोस्पेस मैन्युफैक्चरर्स, सेमीकंडक्टर कंपनियों और मिलिट्री कॉन्ट्रैक्टर्स को प्रभावित कर सकती है।
चीन और अमेरिका के बीच ट्रेड वार बढ़ता जा रहा है। पिछले शुक्रवार को चीन ने अमेरिका से आने वाले सामानों पर टैरिफ 125% तक बढ़ा दिए। ये कदम तब उठाया गया जब ट्रंप ने चीन से आयात पर टैक्स 145% तक बढ़ा दिया था, साथ ही बाकी देशों से आने वाले सामान पर 90 दिनों तक नए टैक्स रोक दिए थे।
बाकी देशों को फिलहाल राहत मिली है, क्योंकि उनके साथ व्यापार को लेकर बातचीत चल रही है। व्हाइट हाउस ने कहा कि 75 से ज़्यादा देशों ने अमेरिका से नए ट्रेड एग्रीमेंट के लिए संपर्क किया है। इस वजह से फिलहाल चीन को छोड़कर किसी और देश पर अतिरिक्त टैक्स नहीं लगाया गया है।
इसके अलावा, अमेरिकी सरकार ने एक जांच शुरू की है कि कैसे अमेरिका विदेशी संसाधनों पर निर्भर है, खासकर ऐसे मटेरियल्स पर जो अत्याधुनिक टेक्नोलॉजी और रक्षा उपकरणों में इस्तेमाल होते हैं। इससे सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ गई है।
प्रेसिडेंट ट्रंप का अपने दूसरे कार्यकाल में ट्रेड रिफॉर्म पर खासा जोर है। उनका मानना है कि नए कदम अमेरिका की इंडस्ट्रीज और सप्लाई चेन की सुरक्षा के लिए जरूरी है। बयान में कहा गया है, "पहले दिन से ही राष्ट्रपति ट्रंप ने अमेरिका की अर्थव्यवस्था को फिर से बेहतर बनाने के लिए अपनी अमेरिका फर्स्ट ट्रेड पॉलिसी की शुरुआत की।"
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